
लगातार इन दिनों श्रीरामचरितमानस को लेकर चर्चे रहने वाले स्वामी प्रसाद ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को पत्र लिख कर एक आग्रह किया है। पहले श्रीरामचरितमानस पर विवादित टिप्पणी करने के बाद काफी समय तक विवादों में घिरे रहने के बाद स्वामी प्रसाद मौर्य ने कुछ संतो को आतंकवादी तथा जल्लाद बताया था। जिसके बाद स्वामी प्रसाद मौर्य के गला काटकर लाने वाले को इनाम की भी घोषणा की गई थी। यह मामला बिहार के शिक्षामंत्री के बयान के बाद शुुरु हुआ था। जिसमें उन्होनें इसे नफरत का प्रचार करने तथा नफरत फैलाने वाली किताब बताया था। कुछ दिनों तक शांत रहने के बाद एक बार फिर से स्वामाी प्रसाद ने श्रीरामचरितमानस को लेकर प्रसाद ने भारतीय प्रधानमंत्री तथा राष्ट्रपति दौपदी मुर्मू को एक पत्र लिखकर आग्रह किया है कि भारतीय ग्रंथ श्रीरामचरितमानस में छपे हुए कुछ विवादित चौपाई को हटाने की मांग की है।
स्वामी प्रसाद मौर्य ने श्रीरामचरितमानस के इन चौपाई को या तो हटाने या फिर उन्हें संसोधित करने की मांग की है। अपने ट्वीटर हैंडल पर स्वामी प्रसाद ने लिखा कि… “रामचरितमानस की कुछ चौपाइयों के आपत्तिजनक अंश जिसमें समस्त महिलाओं, आदिवासियों, दलितों व पिछड़ों को सामाजिक, धार्मिक स्तर पर नित्यप्रति अपमानित होना पड़ता है, को संशोधित/प्रतिबंधित करने एवं पीड़ित वर्ग को सम्मान दिलाने हेतु पत्र मा. राष्ट्रपति जी व मा. प्रधानमंत्री जी को प्रेषित”।
रामचरितमानस की कुछ चौपाइयों के आपत्तिजनक अंश जिसमें समस्त महिलाओं, आदिवासियों, दलितों व पिछड़ों को सामाजिक, धार्मिक स्तर पर नित्यप्रति अपमानित होना पड़ता है, को संशोधित/प्रतिबंधित करने एवं पीड़ित वर्ग को सम्मान दिलाने हेतु पत्र मा. राष्ट्रपति जी व मा. प्रधानमंत्री जी को प्रेषित। pic.twitter.com/rLmuoFKgRs
— Swami Prasad Maurya (@SwamiPMaurya) February 8, 2023
साथ ही प्रसाद ने एक और भी ट्वीट किया जिसमें साफ तौर पर यह जिक्र किया गया था कि,”मानस की आपत्तिजनक कुछय़ चौपाइयों को संशोधित व प्रतिबंधित करने की मांग को, कुछ लोग राम, हिंदू धर्म और रामचरितमानस से जोड़कर मामले को भटकाने की कोशिश कर रहे हैं। विरोध जताते हुए स्वामी ने कहा की ऐसे में ही लोग महिलाओं, आदिवाशीयों, पिछड़े जाति के भावनाओं के साथ खेलते हैं तथा उन्हें कष्ट पहुंचाते हैं।
— Swami Prasad Maurya (@SwamiPMaurya) February 8, 2023
ठीक इसी प्रकार का एक पोस्ट स्वामी प्रसाद मौर्य ने अपने फेसबुक के हैंडल पर भी किया है। जिसमें उन्होंने व्यवस्थित ढंग से लिखे गए एक पत्र की फोटो अप्लोड कि है, उसमें उन्होने अलग-अलग चौपाई का उल्लेख किया हुआ है तथा साथ ही साथ लिखा है कि इससे कई लोगों की भावनाएं आहत होती हैं। देश के 97 फीसदी लोग को नीच, अधम, मूर्ख और पीटने योग्य कहा जाता है। आगे उन्होने इस बात का उल्लेख किया है कि ब्राह्मण दुस्चरित्र होता है तब भी उसकी पूजा होती है तथा वहीं ज्ञानवान शुद्र को सम्मान नहीं दिया जाता है।
बता दें कि स्वामी प्रासाद मौर्य के खिलाफ पहले ही एफआईआर दर्ज किया जा चुका है । इन सभी बातों को संज्ञान में लाते हुए स्वामी प्रसाद मौर्य ने पीएम मोदी तथा राष्ट्रपति को पत्र लिख संशोधन की मांग की है।
लेखक- सात्विक उपाध्याय